Aakhiri Dagar, Purane Humsafar – Episode 9


मैंने अपनी चुदाई की लत पर काबू पा लिया था और फिर अशोक ने मुझे मेरे ही भाई के साथ सोने का फरमान सुना दिया और अब मुझे अपनी ज़िन्दगी का फैसला लेना था।
मैं: “मैने ये निर्णय कर लिया हैं कि मै तुम्हे तलाक दे रही हूँ”
अशोक: “अपने भाई भाभी के साथ अदला बदली के बाद तलाक दोगी या पहले? तलाक क्या मजाक हैं!”
अगले दिन ही जाकर मै रूबी की मदद से एक वकील से मिली और अपने तलाक की प्रक्रिया शुरु कर दी. भाभी को मैंने बोल दिया कि मै बहुत व्यस्त हूँ और घुमने का कार्यक्रम रोकना पड़ेगा.
एक दिन जाकर मैंने तलाक के कागज़ अशोक के सामने रख दिए. अशोक को यकीन नहीं हुआ कि जो लड़की इतने सालो से उसकी ज्यादतियां बर्दाश्त कर रही थी वो ऐसा कदम भी ले सकती हैं।
उसने मुझे बहुत मनाने की कोशिश की पर मै अब ठान चुकी थी कि अब बहुत हो चूका. घर परिवार वालो को पता चला तो बहुत बवाल हुआ पर मै पीछे नहीं हटी.
कोर्ट से हमको एक साल का समय मिला सोचने के लिए और उसके बाद ही तलाक मिल सकता था। मैंने अपने लिए अलग घर किराये पर ले लिया था, बच्चा कभी मेरे तो कभी मेरे पति के साथ रहता.
हम दोनो ही काम करते थे तो बच्चा दिन भर उसकी दादी के घर ही रहता और शाम को हम पति पत्नी दोनो अपनी बारी के हिसाब से उसे अपने पास रखते।
मै अपने घर जाकर अपने भाई को क्या मुंह दिखाती, जब कि वो खुद मुझे चोदने को तैयार हो चुका था। पर माँ के बुलावे पर मुझे जाना पड़ा.
वहां जाकर मैंने भाभी से बात कर ली. तब मुझे पता चला कि मेरे पति अशोक ने मुझसे झूठ बोला था। भाभी को इस अदला बदली के बारे में कुछ नहीं पता था, उन्हे सिर्फ वेकेशन के बारे में पता था।
अशोक की गंदी सोच को देखते हुए भाभी ने कसम खा ली कि वो अशोक से अपने रिश्ते तोड़ देगी. मुझे ख़ुशी मिली कि कम से कम मेरे भाई का घर बर्बाद नहीं होगा।
रूबी मेरे फैसला से बहुत खुश थी। मुझे अब किसी मर्द की चुदाई मिलना बंद हो चुका था पर रूबी अपनी ऊँगली से मेरी मदद कर देती थी।
कभी कभी मुझे आश्चर्य होता था कि रूबी को ऊँगली से चुदने की जरुरत नहीं होती. मुझे भी उसके जैसा बनना था जब मुझे ऊँगली करने तक की जरुरत महसूस ना हो और पूरा कण्ट्रोल कर पाऊ जैसे रूबी करती हैं।
मैंने एक बार उसको पूछ ही लिया कि वो चाहे तो मै भी उसको अपनी ऊँगली से मजा दिला सकती हूँ, पर उसने मना बोल दिया कि उसको ऊँगली की जरुरत नहीं.
मैने भी सोचा मुझे भी अपनी चूत में ऊँगली की आदत छोड़ने की कोशिश करनी होगी. ऑफिस में भी यह बात पता चल गयी कि मै अपने पति से अलग रह रही हूँ.
जैसा कि रूबी ने बताया था, अकेली औरत को देख मर्द लाईन मारते ही हैं। मेरे ऑफिस में भी मर्द अब मुझे आकर अफ़सोस जताते और मुझे कोई मदद चाहिये हो तो वो मदद देने की पेशकश करते.
शुरू शुरु मै तो मुझे लगता कि वो लोग मेरी मदद करना चाहते हैं पर फिर रूबी ने बताया कि वो मेरी किस तरह की मदद की बात कर रहे थे.
अकेली औरतो की परेशानी मुझे अब समझ आने लगी थी और रूबी के प्रति मेरा आदर और बढ़ गया था। मैंने यह भी महसूस किया कि अब मेरा बॉस राहुल मुझसे ज्यादा बातें करने लगा था।
हमारे बीच पहले जो कुछ भी हुआ था, मुझे पता था कि वो मुझसे आज भी प्यार करता हैं। मैंने तो उसको कब का माफ़ कर दिया था पर मै शादी शुदा होकर उसके साथ कोई रिश्ता नहीं रखना चाहती थी।
पर अब में फिर से सिंगल थी और राहुल के साथ रिश्ता बनाने का मौका भी था। शायद राहुल को भी इसमें एक मौका दिखाई दिया।
वैसे भी मैंने राहुल को अपने पति के बाद का दुसरा विकल्प माना था। शायद मेरे लिए यह सबसे सही अवसर था कि मै राहुल के साथ अपने प्यार को आगे बढा पाऊ. मगर मै आगे बढ़कर राहुल को कैसे बोलती इसलिए चुप ही रही.
अशोक और मेरे बीच यह निर्णय हुआ था कि दोपहर में बच्चा मेरी सासुजी के घर ही रहेगी और शाम को ऑफिस के आने के बाद हम दोनो बारी बारी से उसे अपने पास रखेंगे।
एक दिन जब मै अपने बच्चे को पिक अप करने सासुजी के घर के बाहर पहुंची और कार से बाहर निकली तो सामने से पूजा आती दिखी. एक नजर उस पर पड़ते ही मै डर गयी और घर की तरफ बढ़ी। फिर उसकी आवाज सुनाई दी जो मुझे पूकार रही थी।
यहाँ बीच मोहल्ले में वो फिर से मुझे थप्पड़ ना लगा दे या सबके सामने मुझे डाँट कर मेरी पोल खोल ना दे इस डर से मै गेट खोल कर अंदर जाने लगी।
तब तक वो मेरे पास आ गयी थी और मेरे कंधे पर हाथ रख दिया। मैंने अपना एक हाथ अपने गाल पर रखे उसको देखने लगी।
पूजा: ”मुझे नजरअंदाज कर रही हो? आई एम सॉरी , उस दिन मैंने तुम्हे चांटा मार दिया। मुझे एसी प्रतिक्रिया नहीं देनी चाहिये थी। उसके बाद मैंने तुम्हे कई बार माफ़ी मांगने के लिए फ़ोन किया पर लगा ही नहीं. प्लीज माफ़ कर दो.”
मैने थोड़ा आश्चर्य हुआ कि गलती तो मैंने की फिर भी वो माफ़ी मांग रही थी। हो सकता हैं उसने भी मुझे माफ़ कर फिर से दोस्ती करने की सोच ली हो.
मैं: “तुम क्युँ माफ़ी मांग रही हो? माफ़ी तो मुझे मांगनी थी, मैंने तुम्हे ऐसा कुछ करने को बोला. तुमने तो मुझे सही रास्ता बता दिया”
पूजा: “यार, तुमने नितीन के सामने ऐसा बोला इसलिए घबरा कर मैंने थप्पड़ मार दिया। नितीन पहले ही मुझ पर शक करता हैं, मै हां बोलती तो फिर उसको लगता कि मै सच में चरित्रहीन हूँ”
मैं: “मतलब… नितीन नहीं होता तो तुम तैयार थी!”
पूजा: “हां”
मैं: “फिर भी तुमने उन दोनो के सामने मुझे थप्पड़ मार कर मेरा अपमान किया और खुद को बड़ा चरित्रवान दिखाया!!”
पूजा: “मैने तुम्हे बताया तो था कि डांस करते करते ही मै बहक गयी थी। मेरे अंदर कपड़े गीले हो चुके थे, कण्ट्रोल करना मुश्किल हो गया था”
मैं: “मुझे तो तुम्हारा मना करना पसंद आया था कि तुम ऐसी नहीं हो. तुमसे प्रेरित होकर तो मै अशोक से अलग हो गयी”
पूजा: “तुम्हारे बारे में सुनकर बुरा लगा। पर अशोक ने उस दिन मुझ पर जादू कर दिया था। काश उस दिन नितीन साथ में नहीं होता तो मेरी इच्छा पूरी हो जाती। तुम तो वैसे ही अशोक से अलग हो गयी हो, वो भी अकेला होगा, तुम अशोक से बात कर सकती हो मेरे बारे में, नितीन को पता नहीं चलना चाहिये बस”
मेरी काटो तो खून नहीं वाली हालत थी। मैंने पूजा को क्या समझा और वो क्या निकली. वो तो तैयार बैठी थी अशोक के साथ चुदवाने के लिए. पर अब मुझे वैसे भी क्या फर्क पड़ता.
मैं: “तुम खुद बात क्युँ नहीं कर लेती, वो तो वैसे ही तैयार हैं”
पूजा: “आगे बढ़कर उसको कैसे बोलू? वैसे भी वो मुझे मिलता कहा हैं। तुम भी आज इतने दिनों बाद बड़ी मुश्किल से मिली हो. तुम तो मेरी सहेली हो, मेरे एक काम नहीं करोगी?”
मैं: “मै देखती हूँ, क्या कर सकती हूँ”
अब उसकी मदद करना मतलब नितीन के साथ मुझे सोना पड़ेगा जो मै करना नहीं चाहती थी। मै उस ज़िन्दगी से बहुत दूर आ चुकी थी।
मुझे इस चीज से कोई परेशानी नहीं थी कि पूजा मेरे पति से चुदवाना चाहती थी। पर बुरा यह लगा कि इस पूजा ने ही सबसे पहले मुझे यह अहसास दिलाया था कि मै गलत रास्ते पर हूँ, मगर वो खुद गलत रास्ते पर ही थी।
पर मुझे ख़ुशी थी कि उसके चक्कर में मै अब सही रास्ते पर आ चुकी थी। हर औरत तो पूजा की तरह नहीं हो सकती. रूबी अभी भी मेरी ताकत थी।
फिर थोड़े दिन बाद जब मै अपने बच्चे को पिक अप करने अशोक के घर गयी थी तो अशोक ने भी विनती की.
अशोक: “आज रात यहीं रुक जाओ, बहुत दिनों से करने को नहीं मिला मुझे”
मैं: “तुम्हे मेरी क्या जरुरत हैं, तुम्हारे लिए तो बहुत सी लड़कियां तैयार होगी”
अशोक: “कोई लड़की नहीं हैं! एक रात की ही तो बात हैं, रुक जाओ”
मैं: “तुम्हारे तो इतने दोस्त हैं, चले जाओ किसी के भी घर, वो अपनी बीवी दे देंगे तुम्हे चोदने के लिए”
अशोक: “तुम्हे पाने की लालच में दे भी देते पर अब कौन देगा?”
मैं: “तुम्हारी पूजा मिली थी थोड़े दिन पहले, वो तैयार हैं। कर लो उसके साथ”
अशोक: “अच्छा!! पर वो नितीन क्युँ मानेगा? तुम मेरे साथ ना सही ,नितीन के साथ चुदवाने को तैयार हो जाओ तो वो मुझे पूजा को चोदने देगा. अब तो पूजा भी तैयार हैं तो कोई परेशानी ही नहीं हैं”
मैं: “तुम्हारी गलत इच्छाओ के लिए मै क्युँ बलि दू? मुझे ऐसा कोई शौक नहीं हैं। मैंने तुम्हे खाली बता दिया हैं कि पूजा तैयार हैं, अब तुम्हे कैसे करना हैं वो तुम दोनो देख लो”
अशोक: “ऐसे मत करो, वो नितीन तो पूजा पर पहरा रखता हैं, उसकी इजाजत के बिना मै नहीं कर सकता”
मैं: “मै तुम्हारी इसमें कोई मदद नहीं कर सकती”
अशोक: “मेरा जन्मदिन आने वाला हैं। मै पूजा और तुम्हारी सुलह के बहाने उन दोनो को पार्टी पर बुलाता हूँ, तुम भी आ जाना. मेरी थोड़ी मदद कर देना, नितिन को थोड़ा व्यस्त रखना तब तक मै पूजा के साथ कर लूंगा. इस बहाने तुम पूजा की भी मदद कर दोगी”
मैं: “तुम ध्यान से सुन लो, मै नितीन के साथ कुछ करने वाली नहीं हूँ”
अशोक: “तुम्हे कुछ नहीं करना हैं, सिर्फ पार्टी में आ जाना बस. हर साल तुम मुझे जन्मदिन गिफ्ट देती हो, इस बार तुम्हारा आना ही मेरे लिए गिफ्ट होगा, प्लीज…प्लीज”
पूजा ने मुझे अशोक और नितीन के सामने थप्पड़ मारा था और मुझे उसके मुकाबले चरित्रहीन साबित कर दिया था। यह मौका था जब मै पूजा से उन्ही लोगो के सामने माफ़ी मंगवा सकती थी। तो मैंने पार्टी में आने का हां बोल दिया।
अगले दिन मैंने पूजा को फ़ोन कर बोल दिया कि अशोक उसे और नितीन को अपनी जन्मदिन पार्टी में बुलाने वाला हैं। तो उसके पास अशोक से चुदने का भी मौका होगा और मुझसे उन दोनो के सामने माफ़ी मांगने का भी.
पूजा यह सुनकर बहुत खुश हुयी. मै खुश थी कि मेरा जो अपमान हुआ था उसका बोझ उतर जाऐगा और हो सकता हैं मै अशोक और पूजा की एक होने में मदद भी कर दू .
जन्मदिन वाले दिन मै अशोक के घर पहुंची. वो अकेला ही था। उसने मेरे अलावा सिर्फ पूजा और नितीन को ही बुलाया था। यहाँ तक कि हमारा बच्चा भी नहीं था।
अशोक: “धन्यवाद , तुम आ गयी। यार तुम अगर नितीन के साथ करने को मान जाओ तो मेरा और पूजा का काम आसान हो जायेगा”
मैं: “तुम चाहते हो कि मै चली जाऊ तो चली जाती हूँ, पर फिर यह विनती मत करना”
अशोक: “मेरे अंदर आग लगी हैं, मुझे चोदना हैं। ना तुम करने दे रही हो, और ना मेरी मदद कर रही हो”
मैं: “मुझे जितनी मदद करनी थी वो मैंने कर दी. इस से ज्यादा उम्मीद मत रखना”
अशोक: “अच्छा ठीक हैं, मै अगर पूजा को लेकर अंदर जाऊ तो नितीन को यहाँ रोके रखना”
मैं: “मै 5-10 मिनट से ज्यादा नहीं रोक पाउंगी, नितीन भी कोई पागल नहीं हैं, उसे पता चल जाऐगा. 5-10 मिनट में जो कर सकते हो कर लेना”
अगले एपिसोड में पढ़िए क्या अशोक और पूजा नितिन की आँखों में धुल झोंक कर चुदाई करने में कामयाब हो पाएंगे या नहीं।
[email protected]

शेयर
xxx sex storytelugu sex conversationchup chup kchut marne ki storytelugu sex stories letestgroup sex delhinew indian sechindi sex ki kahaniyasamuhik chudai storiesbest tamil sex storyindian srx videoshindi sexy storisaunty hot kamakathaikalchudae kahanisuhagraat ki kahani hindi maibangladeshi desi sexdever bhabhi ki chudaigroup sex mmspunjabi sex.comswathi sex storieschudai kathabus m sexwww telugu sex storys inindian sex gangbangchodar galpobhabhiki chuthindi story indiandesi nude beachdesi lesbian sex storiesbudhi aurat ko chodaindianincestkiran nemalayalam kambi kathakal freeool kathaigal in tamil languagedeshikahanisexy desi kahaniyahot desi hotchut me dandalatest chudai ki kahanikambi new storynew desi girl sexhot sexy desi sexkannada first night sex storiestamil sex stpriesdada ji ne chodanaukar se chudai storymummy koindian sex stories incestlovers sex story in kannadadesi chudai sex storyxxx betihindi sexy story and photosexy aurat ki kahanichachi ko jabardasti chodanon veg stories in punjabisex stories with male teacherindian all sexysexy jija saligujrati desi chudaitelugu aunty ni denganupure desi sexkannada family sex kathegalulovely chootnew telugu sex storiesguju bhabhisuhagrat ke dingudda nakufamily choda chudimaa behan ki kahanibahu ko pelatamil incest kathaigalnew gangbangdesi bhabhi ka sexdesi gay sex kahaniamma tho snanambaap beti ki chudai hindi meindia hindi sexsexy mousimom ko choda hindisex pictures with storiesyoung couple sex storiespunjabi sex story comindiandesi sexschool ki kahanihumsafar episodes